कांग्रेस की दुर्दशा साध्वी के जेल भेजने के बाद ही शुरू हो गयी और मार खाते खाते 2014 में 44 सीट पर आ कर पार्टी सिमट गई।
#साधवी_प्रज्ञा_ठाकुर_का_श्राप_कौन_कौन_भुगतेगा
उनकी "आह" का असर हुआ है
कांग्रेसी समझ नहीं रहे!
2006 में सुनील जोशी ने #साध्वी_प्रज्ञा से उनकी बाइक खरीदी
1 साल बाद सुनील जोशी की हत्या हो गई और मोटरसाइकल गायब हो गई उसके घर से।
फिर मालेगांव विस्फोट हुआ जिसमें साध्वी प्रज्ञा की उपर्युक्त बाइक मिली जिसमे बांधकर ही विस्फोट हुआ था।
अक्टूबर 2008 को साध्वी को ATS ने गिरफ्तार किया
फिर केस NIA को दिया गया।
2013 में NIA ने साध्वी को निर्दोष पाया।
आज 2017 को साध्वी प्रज्ञा रिहा हुई जमानत पर।
विश्लेषण
2004 में जबलपुर में साधू संतो का विशाल राष्ट्रीय सम्मेलन हुआ था जिसमे इसाई मिशनरियों के धर्मांतरण का विरोध किया गया। साध्वी प्रज्ञा कार्यक्रम की संचालक थी।
तो साध्वी प्रज्ञा को फसाने के लिये लम्बा षड्यंत्र बुना गया जिसके तहत उनके परिचित सुनील जोशी से प्रज्ञा जी की मोटर साइकल खरीदवाई गई। फिर सुनील जोशी की हत्या कर दी गई ताकि इस षड्यंत्र की कड़ी टूट जावे। फिर प्रज्ञा जी की मोटरसाइकल पर विस्फोटक बांधकर मालेगांव में मस्जिद के सामने उड़ा दिया गया।
अब क्या कोई इतना मूर्ख होता है कि मस्जिद के सामने विस्फोट करने के लिये अपनी मोटरसाइकिल का उपयोग करेगा, विस्फोटक तो किसी सायकल, गिफ्ट पैकेट, मांस आदि के बीच में छिपाकर रखा जाता यदि किसी को अपराध करना होता।
और
आश्चर्य की बात ये है कि इसी दिन मस्जिद में लगे कैमरे बन्द कर दिए गए थे, तो ये पता नही चला की मोटरसाइकल किसने खड़ी की थी।।
ये भी planted षड्यंत्र का एक हिस्सा था।
देश में इतने सारे आतंकवादी हमले हुए, संसद हमले, ताज होटल, क्या किसी भी हमले में इस्तेमाल हुई औजार, ट्रक आदि के मालिक का पता चला।
खुद विचार कर सकते हैं कि प्रज्ञा दीदी को किन लोगों ने फंसाया था।
9 साल एक निर्दोष साध्वी को झूठे आरोपों में जेल में सड़ाकर प्रताड़ित करने के अपराध में कौन कौन उनके श्राप को भुगतेगा ये समय बताएगा...
साध्वी को ऐसी निर्मम प्रताड़ना
देने वाले कांग्रेसी समझ नहीं रहे कि साध्वी की "आह" ने क्या असर दिखाया है अभी तक और आगे भी भुगतना पड़ेगा, ये निश्चित है...
बस लाइन लगा लो अपनी अपनी करनी का फल भुगतने के लिए कंधमाल दंगों के बाद कांग्रेस ने सबसे पहले हिन्दू आतंकवाद के आरोप में सबसे पहले साध्वी पर हमला किया था और
मुंबई एटीएस अध्यक्ष हेमंत करकरे की बटालियन ने
साध्वी प्रज्ञा पर सबसे ज्यादा अमानवीय अत्याचार निर्ममता की सभी हदें पार कर दी थी ....
रॉ के एक रिटायर्ड अधिकारी ने पूरा खुलासा किया था कि बाटला हाउस एनकाउंटर और तमाम केस में मुसलमानों के मारे जाने से मुस्लिम तुष्टीकरण को खुश करने के लिए कांग्रेस ने भगवा आतंकवाद या हिंदू आतंकवाद का प्लान किया और
उसके लिए संघ के कुछ लोगों को इसमें फंसाने की पूरी साजिश रची गई.... हेमंत करकरे जो पूरी तरह से कांग्रेसी था और कांग्रेस का दलाल था उसने इस काम में कांग्रेस की पूरी मदद की उसने
साध्वी प्रज्ञा के मुंह में मटन चिकन ठूस दिया उनकी कंठी माला उतारकर फेंक दी थी मार-मार कर उनके दोनों पैर तोड़ दिए थे
ख़ैर ईश्वर का न्याय देखिए वही हेमंत करकरे कांग्रेस की साजिश का शिकार हुआ। जिस मुसलमानों को खुश करने के लिए हेमंत करकरे ने साध्वी प्रज्ञा पर इतना अत्याचार किया उसी मुस्लिम आतंकवादी कसाब ने हेमंत करकरे को मार डाला था और हेमंत करकरे के मरने के 3 या 4 साल के बाद उसकी पत्नी कविता करकरे भी कैंसर से मारी गई ....
ईश्वर के घर देर है लेकिन अंधेर नहीं।
हेमंत करकरे भगवान तुम्हारी आत्मा को कभी शांति नहीं दे, तुम्हारी आत्मा हमेशा भटकती रहे तड़पती रहे, तुम्हें कभी मोक्ष ना मिले...
मुझे याद है साध्वी की बहन ने ऐसे लोगों को टीवी पर श्राप दिया था...
आह का असर होने में कभी कभी समय लगता है, इस बात को भूल नहीं जाना चाहिए कांग्रेस को कि उनके कुकर्मो की सजा सोनिया गाँधी को मिली जो अपनी बीमारी बताये बिना अमेरिका में इलाज़
कराती रही और आज भी ठीक नहीं है!!
कांग्रेस की दुर्दशा साध्वी के जेल भेजने के बाद ही शुरू हो गयी और मार खाते खाते 2014 में 44 सीट पर आ कर पार्टी सिमट गई। उसके बाद पार्टी बिलकुल निष्प्राण हो चुकी है।
दिग्विजय और चिदम्बरम को भी लगेगा समय आ गया है
सर्वनाश होगा कांग्रेसियों का।
और क्या असर देखना है साध्वी की "आह" का
मुस्लिम तुष्टिकरण और चंद विदेशी शक्तियों को दिखाने के लिए सारे हिन्दू समाज को बदनाम करने की साजिश की कांग्रेस के नेताओं ने उसके दुष्परिणाम तो अवश्य मिलेंगे।
ईश्वर के दरबार में देर भले ही हो जाये अंधेर नहीं होता मगर धरती का ईश्वर खुद को समझ बैठे थे कांग्रेस के नेता अब भुगतेंगे भी।
निर्दोष सैनिक लेफ्टिनेंट कर्नल पुरोहित को बनाया था आतंकी
सोनिया गाँधी की बड़ी साज़िश !
पद्मभूषण शरद पवार की शान में
कांग्रेस की चाल, हिन्दुओ के नष्ट करने धारा 28,29,30A
भारत माता की जय --वन्दे मातरम्
मंजू सेन
उनकी "आह" का असर हुआ है
कांग्रेसी समझ नहीं रहे!
2006 में सुनील जोशी ने #साध्वी_प्रज्ञा से उनकी बाइक खरीदी
1 साल बाद सुनील जोशी की हत्या हो गई और मोटरसाइकल गायब हो गई उसके घर से।
फिर मालेगांव विस्फोट हुआ जिसमें साध्वी प्रज्ञा की उपर्युक्त बाइक मिली जिसमे बांधकर ही विस्फोट हुआ था।
अक्टूबर 2008 को साध्वी को ATS ने गिरफ्तार किया
फिर केस NIA को दिया गया।
2013 में NIA ने साध्वी को निर्दोष पाया।
आज 2017 को साध्वी प्रज्ञा रिहा हुई जमानत पर।
विश्लेषण
2004 में जबलपुर में साधू संतो का विशाल राष्ट्रीय सम्मेलन हुआ था जिसमे इसाई मिशनरियों के धर्मांतरण का विरोध किया गया। साध्वी प्रज्ञा कार्यक्रम की संचालक थी।
तो साध्वी प्रज्ञा को फसाने के लिये लम्बा षड्यंत्र बुना गया जिसके तहत उनके परिचित सुनील जोशी से प्रज्ञा जी की मोटर साइकल खरीदवाई गई। फिर सुनील जोशी की हत्या कर दी गई ताकि इस षड्यंत्र की कड़ी टूट जावे। फिर प्रज्ञा जी की मोटरसाइकल पर विस्फोटक बांधकर मालेगांव में मस्जिद के सामने उड़ा दिया गया।
अब क्या कोई इतना मूर्ख होता है कि मस्जिद के सामने विस्फोट करने के लिये अपनी मोटरसाइकिल का उपयोग करेगा, विस्फोटक तो किसी सायकल, गिफ्ट पैकेट, मांस आदि के बीच में छिपाकर रखा जाता यदि किसी को अपराध करना होता।
और
आश्चर्य की बात ये है कि इसी दिन मस्जिद में लगे कैमरे बन्द कर दिए गए थे, तो ये पता नही चला की मोटरसाइकल किसने खड़ी की थी।।
ये भी planted षड्यंत्र का एक हिस्सा था।
देश में इतने सारे आतंकवादी हमले हुए, संसद हमले, ताज होटल, क्या किसी भी हमले में इस्तेमाल हुई औजार, ट्रक आदि के मालिक का पता चला।
खुद विचार कर सकते हैं कि प्रज्ञा दीदी को किन लोगों ने फंसाया था।
9 साल एक निर्दोष साध्वी को झूठे आरोपों में जेल में सड़ाकर प्रताड़ित करने के अपराध में कौन कौन उनके श्राप को भुगतेगा ये समय बताएगा...
साध्वी को ऐसी निर्मम प्रताड़ना
देने वाले कांग्रेसी समझ नहीं रहे कि साध्वी की "आह" ने क्या असर दिखाया है अभी तक और आगे भी भुगतना पड़ेगा, ये निश्चित है...
बस लाइन लगा लो अपनी अपनी करनी का फल भुगतने के लिए कंधमाल दंगों के बाद कांग्रेस ने सबसे पहले हिन्दू आतंकवाद के आरोप में सबसे पहले साध्वी पर हमला किया था और
मुंबई एटीएस अध्यक्ष हेमंत करकरे की बटालियन ने
साध्वी प्रज्ञा पर सबसे ज्यादा अमानवीय अत्याचार निर्ममता की सभी हदें पार कर दी थी ....
रॉ के एक रिटायर्ड अधिकारी ने पूरा खुलासा किया था कि बाटला हाउस एनकाउंटर और तमाम केस में मुसलमानों के मारे जाने से मुस्लिम तुष्टीकरण को खुश करने के लिए कांग्रेस ने भगवा आतंकवाद या हिंदू आतंकवाद का प्लान किया और
उसके लिए संघ के कुछ लोगों को इसमें फंसाने की पूरी साजिश रची गई.... हेमंत करकरे जो पूरी तरह से कांग्रेसी था और कांग्रेस का दलाल था उसने इस काम में कांग्रेस की पूरी मदद की उसने
साध्वी प्रज्ञा के मुंह में मटन चिकन ठूस दिया उनकी कंठी माला उतारकर फेंक दी थी मार-मार कर उनके दोनों पैर तोड़ दिए थे
ख़ैर ईश्वर का न्याय देखिए वही हेमंत करकरे कांग्रेस की साजिश का शिकार हुआ। जिस मुसलमानों को खुश करने के लिए हेमंत करकरे ने साध्वी प्रज्ञा पर इतना अत्याचार किया उसी मुस्लिम आतंकवादी कसाब ने हेमंत करकरे को मार डाला था और हेमंत करकरे के मरने के 3 या 4 साल के बाद उसकी पत्नी कविता करकरे भी कैंसर से मारी गई ....
ईश्वर के घर देर है लेकिन अंधेर नहीं।
हेमंत करकरे भगवान तुम्हारी आत्मा को कभी शांति नहीं दे, तुम्हारी आत्मा हमेशा भटकती रहे तड़पती रहे, तुम्हें कभी मोक्ष ना मिले...
मुझे याद है साध्वी की बहन ने ऐसे लोगों को टीवी पर श्राप दिया था...
आह का असर होने में कभी कभी समय लगता है, इस बात को भूल नहीं जाना चाहिए कांग्रेस को कि उनके कुकर्मो की सजा सोनिया गाँधी को मिली जो अपनी बीमारी बताये बिना अमेरिका में इलाज़
कराती रही और आज भी ठीक नहीं है!!
कांग्रेस की दुर्दशा साध्वी के जेल भेजने के बाद ही शुरू हो गयी और मार खाते खाते 2014 में 44 सीट पर आ कर पार्टी सिमट गई। उसके बाद पार्टी बिलकुल निष्प्राण हो चुकी है।
दिग्विजय और चिदम्बरम को भी लगेगा समय आ गया है
सर्वनाश होगा कांग्रेसियों का।
और क्या असर देखना है साध्वी की "आह" का
मुस्लिम तुष्टिकरण और चंद विदेशी शक्तियों को दिखाने के लिए सारे हिन्दू समाज को बदनाम करने की साजिश की कांग्रेस के नेताओं ने उसके दुष्परिणाम तो अवश्य मिलेंगे।
ईश्वर के दरबार में देर भले ही हो जाये अंधेर नहीं होता मगर धरती का ईश्वर खुद को समझ बैठे थे कांग्रेस के नेता अब भुगतेंगे भी।
निर्दोष सैनिक लेफ्टिनेंट कर्नल पुरोहित को बनाया था आतंकी
सोनिया गाँधी की बड़ी साज़िश !
पद्मभूषण शरद पवार की शान में
कांग्रेस की चाल, हिन्दुओ के नष्ट करने धारा 28,29,30A
भारत माता की जय --वन्दे मातरम्
मंजू सेन
Comments
Post a Comment